Category: बच्चों की परवरिश

बच्चों को कहानियां सुनाने के 5 वैज्ञानिक फायेदे

By: Admin | 8 min read

कहानियां सुनने से बच्चों में प्रखर बुद्धि का विकास होता है। लेकिन यह जानना जरुरी है की बच्चों को कौन सी कहानियां सुनाई जाये और कहानियौं को किस तरह से सुनाई जाये की बच्चों के बुद्धि का विकास अच्छी तरह से हो। इस लेख में आप पढ़ेंगी कहानियौं को सुनने से बच्चों को होने वाले सभी फायेदों के बारे में।

बच्चों को कहानियां सुनाने के 5 वैज्ञानिक फायेदे

बच्चों को कहानियां सुन्ना बहुत पसंद आता है।

क्या आप रात को सोने से पहले बच्चों को कहानियां सुनती हैं?

अगर नहीं सुनाती हैं, तो सुनना शुरू कीजिये!

हाल ही में हुए अमेरिकी शोध में यह बात सामने आयी है की जो माँ - बाप अपने बच्चों को कहानियां सुनते हैं, उनके बच्चों में प्रखर बुद्धि का विकास होता है।

लेकिन बात सिर्फ इतनी सी नहीं है।

शोध में यह भी पता चला है की कहानियां सुनाने से बच्चों का माता-पिता के साथ सम्बन्ध भी गहरा होता है और बच्चों के अंदर आत्मविश्वास भी बढ़ता है। 

children love storytelling

बच्चों के अंदर बात-चीत करने के कौशल का विकास भी होता है। 

शोध के अनुसार 18 से  25 महीने के बच्चे, जिनके माँ-बाप हर दिन बच्चो को किताबों से कहानियां पढ़ कर सुनते थे, उनके बच्चे दुसरे बच्चों की तुलना में ज्यादा शब्दों को बोलने और समझने लगे। 

अमेरिकी शोध विशेषज्ञ - Mary Ellen Chase के अनुसार बच्चों के जीवन में किताबों का कोई विकल्प नहीं है। 

बच्चों को गोदी में ले कर कहानियां सुनाने से ज्यादा आनंद शायद ही किसी अन्य चीज़ से माँ-बाप को मिले। बच्चों को बहुत छोटे उम्र से ही, सोने से पहले किताबों से कहानियां पढ़ कर सुनाने से बच्चों में पढ़ने की आदत का विकास होता है। ये आदत उनके आगे की जीवन के लिए बहुत फायदेमंद है। 

इस लेख में 


बच्चों को कहानियां सुनाने का तरीका


बच्चों को कहानियां सुनाने का तरीका 

  • कहानियां ध्यान आकर्षित करने वाली और आनंदायक होनी चाहिए।
  • कहानी के सभी पात्रों के बारे में बच्चों को बताएं।
  • कहानी सुनाते वक्त बहुत साधारण भाषा का इस्तेमाल करें।
  • उन शब्दों (vocabulary) का इस्तेमाल ज्यादा करें जिनसे आप का बच्चा परिचित हो। 
  • बच्चों को सरल भाषा में कहानी बताएं। उन्हें इधर-उधर की बातें कर के भ्रमित न करें।
  • कहानी बहुत रोचक तरीके से बच्चों को बताएं। अगर आप बहुत रूचि ले कर कहानी बच्चों को बताएँगे तो बच्चे भी बहुत चाव ले कर कहानी सुनेगे। 
  • कहानी सुनाते वक्त बच्चों को किताब में से कहानी से सम्बंधित चित्रों को दिखयें। 
  • पात्रों के अनुसार अपने आवाज को बदल-बदल के भी कहानी सुनाएँ। 
  • कहानी सुनाते वक्त अपनी आँखों और हातों का भी इशारा करें। 
  • आप कहानी सुनाते वक्त बच्चों के खिलौनों को (गुड्डे - गुडियोँ) को कहानी के पात्रों की तरह इस्तेमाल कर सकती हैं। इससे बच्चों को कहानी और ज्यादा विश्वसनीय लगेगी। use props while story telling to children
  • कहानी के लिए अलग अलग तरह के सामानो (props) का इस्तेमाल करें। 
  • कहानी को छोटा और संछिप्त रखें। 
  • कहानी के अंत में अपने बच्चे से "कहानी से मिली पाठ" (moral of the story) जरूर पूछें। इससे बच्चे में सिखने के गुणों का विकास होगा। 

image 1.2

बच्चों को कहानी सुनाने के फायदे

बच्चों को छोटी उम्र से ही कहानिया सुनाने से ये निम्न फायदे होते हैं।

बच्चों को कहानी सुनाने के फायदे

  • बच्चे ध्यान केंद्रित करना सीखते हैं
  • कल्पना शक्ति को बढ़ता है
  • बात-चित के कौशल (संचार कौशल) और भाषा का विकास करता है
  • बच्चे और माँ-बाप के बीच के संबंधों को प्रगाढ़ बनता है
  • बच्चों में पढ़ने की रूचि को बढ़ता है

बच्चे ध्यान केंद्रित करना सीखते हैं

जब माँ-बाप बच्चों को कहानियों किताब पढ़ कर को सुनाते हैं तो बच्चों में दृश्य और मोटर कौशल का विकास होता है। बच्चे अपने छोटे मांसपेशियों का उपयोग करना सीखते हैं जिसे मोटर कौशल कहते हैं। 

इसमें बच्चों को छोटी वस्तुएं पकड़ने, कपड़े खोलने, पन्नों को बदलना, हातों से पकड़ के खाने के कौशल का विकास होता है। 

बच्चे ध्यान केंद्रित करना सीखते हैं

जब आप बच्चे को कहानी सुना रहे होते हैं तो बच्चे को समय मिलता है की वो शांत हो कर एक जगह बैठ कर या लेट कर कहानी सुने। इससे बच्चे में शांति से बैठने और ध्यान केंद्रित करने की छमता का भी विकास होता है। 

develops motor skills in children

कल्पना शक्ति को बढ़ता है

कहानियों में इस्तेमाल हुए विभिन्न पात्रों की वजह से बच्चे में कोतुहल बढ़ता है। उनकी कल्पना शक्ति को पंख मिलता है और वे कहानियों की एक नई दुनिया के बारे में समझना शुरू करते हैं। 

storytelling children improves imagination कहानी सुनने शिशु की कल्पना शक्ति को बढ़ता है

किताबों के रूप में आप बच्चों को जिंदगी भर के लिए एक सच्चा दोस्त दे सकती हैं। जब आप बच्चों को कहानियां सुनाये तो इस तरह सुनाएँ की वे interactive हों। 

इससे बच्चों का IQ लेवल बढ़ेगा। बच्चे कहानियों की दुनिया और हकीकत की दुनिया में भेद करना सीखते हैं। 

बात-चित के कौशल (संचार कौशल) और भाषा का विकास करता है

कहानी बताते वक्त आप किस तरह का body language और gestures का इस्तेमाल करते हैं, ये बहुत महत्वपूर्ण है। इससे बच्चे में verbal और non-verbal communication skills का विकास होता है। 

बात-चित के कौशल (संचार कौशल) और भाषा का विकास करता है

एक बार जब बच्चे में छोटी उम्र से ही किताब पढ़ने की आदत बन जाती है तो उसमे दुनिया को और जानने का कौतुहल बढ़ता है। 

आप का बच्चा जितना ज्यादा पढता है, उसके अंदर उतना ज्यादा भाषा का विकास और communication skills का विकास होता है। 

बच्चे और माँ-बाप के बीच के संबंधों को प्रगाढ़ बनता है

बच्चों को कहानी सुनाने का जो समय होता है वो एक ऐसा समय है जब बच्चों को आप का पूरा ध्यान मिलता है। 

बच्चे और माँ-बाप के बीच के संबंधों को प्रगाढ़ बनता है

यह समय बच्चे के जिंदगी में बहुत महत्वपूर्ण है, क्योँकि इस समय में बच्चे में माँ-बाप के प्रति सम्बन्ध घनिष्ट होते हैं। 

कहानियों के दुवारा बच्चे अपने विचारों को प्रकट करना सीखते हैं तथा अभिव्यक्ति के मूल सिद्धांतों को सीखते हैं। 

बच्चों में पढ़ने की रूचि को बढ़ता है

किताबों से कहानियां पढ़ कर सुनाने से बच्चों में छोटी उम्र से ही किताबों के प्रति रूचि बढ़ती है। बच्चों जबरदस्ती कहानियां मत सुनाएँ। यह इस तरह न हो की जैसे आप उन्हें पढ़ा रहे हैं। 

कहानियां सुनाने का समय बच्चों के लिए मनोरंजन का समय होना चाहिए। बच्चों को केवल कहानियां ही नहीं सुनाएँ - बल्कि उन्हें rhymes, poems और plays भी सिखाएं। 

बच्चों में पढ़ने की रूचि को बढ़ता है

जब आप किताब से कहानियां पढ़ें तो इस तरह पढ़ें जैसे आप को बहुत आनंद आ रहा है। बच्चे नक़ल करने में उस्ताद होते हैं और वे इसमें भी आप की नक़ल करेंगे। 

कुछ समय बाद आप पाएंगे की आप का बच्चा खुद ही किताबों की कहानियों में आनद ले रहा है। 

ऐसी कहानियों का चुनाव करें जो आप के बच्चे को रुचिकर लगती हों और जिसमें आप का बच्चा comfortable (सहज) महसूस करता हो। 

एक बार जब आप के बच्चे में किताबों से कहानियों को सुनने का आदत बन जायेगा तब आप उसको और कई दुसरे किताबों से परिचय करा सकती हैं। 

Important Note: यहाँ दी गयी जानकारी की सटीकता, समयबद्धता और वास्‍तविकता सुनिश्‍चित करने का हर सम्‍भव प्रयास किया गया है । यहाँ सभी सामग्री केवल पाठकों की जानकारी और ज्ञानवर्धन के लिए दी गई है। हमारा आपसे विनम्र निवेदन है कि यहाँ दिए गए किसी भी उपाय को आजमाने से पहले अपने चिकित्‍सक से अवश्‍य संपर्क करें। आपका चिकित्‍सक आपकी सेहत के बारे में बेहतर जानता है और उसकी सलाह का कोई विकल्‍प नहीं है। अगर यहाँ दिए गए किसी उपाय के इस्तेमाल से आपको कोई स्वास्थ्य हानि या किसी भी प्रकार का नुकसान होता है तो kidhealthcenter.com की कोई भी नैतिक जिम्मेदारी नहीं बनती है।

बंद-नाक
जुकाम-के-घरेलू-उपाय
khasi-ki-dawa
कई-दिनों-से-जुकाम
बच्चों-की-नाक-बंद-होना
शिशु-सर्दी
Best-Baby-Carriers
शिशु-खांसी-के-लिए-घर-उपचार
शिशु-को-खासी
शिशु-बुखार
1-साल-के-बच्चे-का-आदर्श-वजन-और-लम्बाई
नवजात-शिशु-वजन
बच्चों-का-BMI
शिशु-की-लम्बाई
शिशु-का-वजन-घटना
नवजात-शिशु-का-BMI
6-महीने-के-शिशु-का-वजन
शिशु-का-वजन-बढ़ाये-देशी-घी
शिशु-को-अंडा
शिशु-को-देशी-घी
शिशु-का-वजन-बढ़ाएं
देसी-घी
BMI-Calculator
नवजात-शिशु-का-Infant-Growth-Percentile-Calculator
लड़की-का-आदर्श-वजन-और-लम्बाई
गर्भ-में-लड़का-होने-के-लक्षण-इन-हिंदी
4-महीने-के-शिशु-का-वजन
ठोस-आहार
मॉर्निंग-सिकनेस
डिस्लेक्सिया-Dyslexia

Most Read

गर्भ-में-लड़का-होने-के-लक्षण-इन-हिंदी
बच्चे-का-वजन
टीकाकरण-चार्ट-2018
शिशु-का-वजन-बढ़ाएं
बच्चों-में-यूरिन
बच्चों-को-गोरा-करने-का-तरीका-
कई-दिनों-से-जुकाम
खांसी-की-अचूक-दवा
बंद-नाक
balgam-wali-khansi-ka-desi-ilaj
sardi-jukam
सर्दी-जुकाम-की-दवा
बच्चे-की-भूख-बढ़ाने-के-घरेलू-नुस्खे

Other Articles

पोक्सो एक्ट (POCSO) क्या है - सम्पूर्ण जानकारी
पोक्सो-एक्ट-POCSO पोक्सो एक्ट बच्चों पे होने वाले यौन शोषण तथा लैंगिक अपराधों से उनको सुरक्षा प्रदान करने के लिए एक महत्वपूर्ण अधिनियम है। 2012 में लागु हुआ यह संरक्षण अधिनियम एवं नियम, 18 वर्ष से कम आयु के बच्चों पे हो रहे लैंगिक अपराधों पे अंकुश लगाने के लिए किया गया है। Protection of Children from Sexual Offences Act (POCSO) का उल्लेख सेक्शन 45 के सब- सेक्शन (2) के खंड “क” में मिलता है। इस अधिनियम के अंतर्गत 12 साल से कम उम्र के बच्चे के साथ यौन उत्पीडन करने वाले दोषी को मौत की सजा या आजीवन कारावास की सजा का प्रावधान निर्धारित किया गया है।
Read More...

जलशीर्ष - लक्षण इलाज और बचाव
जलशीर्ष-Hydrocephalus जलशीर्ष यानी Hydrocephalus एक गंभीर बीमारी है जो शिशु के विकास को प्रभावित कर सकती है और उसके मस्तिष्क को हमेशा के लिए नुक्सान पहुंचा सकती है। गर्भावस्था के दौरान कुछ सावधानियां बारत कर आप अपने शिशु को जलशीर्ष (Hydrocephalus) से बचा सकती हैं।
Read More...

बच्चों के मसूड़ों के दर्द को ठीक करने का तरीका
बच्चों-के-मसूड़ों-के-दर्द-को-ठीक-करने-का-तरीका छोटे बच्चों के मसूड़ों के दर्द को तुरंत ठीक करने का घरेलु उपाय हम आप को इस लेख में बताएँगे। शिशु के मसूड़ों से सम्बंधित तमाम परेशानियों को घरेलु नुस्खे के दुवारा ठीक किया जा सकता है। घरेलु उपाय के दुवारा बच्चों के मसूड़ों के दर्द को ठीक करने का सबसे बड़ा फायेदा ये होता है की उनका कोई भी साइड इफेक्ट्स नहीं होता है। यह शिशु के नाजुक शारीर के लिए पूरी तरह से सुरक्षित होते हैं और इनसे किसी भी प्रकार का इन्फेक्शन होने का भी डर नहीं रहता है। लेकिन बच्चों का घरेलु उपचार करते समय आप को एक बात का ध्यान रखना है की जो घरेलु उपचार बड़ों के लिए होते हैं - जरुरी नहीं की बच्चों के लिए भी वह सुरक्षित हों। उदाहरण के लिए जब बड़ों के मसूड़ों में दरद होता है तो दांतों के बीच लोंग दबा लेने से आराम पहुँचता है। लेकिन यह विधि बच्चों के लिए ठीक नहीं है क्यूंकि इससे बच्चों को लोंग के तेल से छाले पड़ सकते हैं। बच्चों के लिए जो घरेलु उपाय निर्धारित हैं, केवल उन्ही का इस्तेमाल करें बच्चों के मसूड़ों के दर्द को ठीक करने के लिए।
Read More...

प्रेग्‍नेंसी में खतरनाक है यूटीआई होना - लक्षण, बचाव और इलाज
यूटीआई-UTI-Infection यूटीआई संक्रमण के लक्षण, यूटीआई संक्रमण से बचाव, इलाज। गर्भावस्था के दौरान क्या सावधानियां बरतें। यूटीआई संक्रमण क्या है? यूटीआई का होने वाले बच्चे पे असर। यूटीआई संक्रमण की मुख्या वजह।
Read More...

क्योँ जन्म के बाद नवजात शिशु का वजन घट गया?
शिशु-का-वजन-घटना शिशु का वजन जन्म के 48 घंटों के भीतर 8 से 10 प्रतिशत तक घटता है। यह एक नार्मल से बात है और सभी नवजात शिशु के साथ होता है। जन्म के समय शिशु के शरीर में अतिरिक्त द्रव (extra fluid) होता है - जो शिशु के जन्म के कुछ दिनों के अंदर तेज़ी से बहार आता है और शिशु का वजन कम हो जाता है। लेकिन कुछ ही दिनों के अंदर फिर से शिशु का वजन अपने जन्म के वजन के बराबर हो जायेगा और फिर बढ़ता ही जायेगा।
Read More...

शिशु को सर्दी जुकाम से कैसे बचाएं
शिशु-सर्दी ठण्ड के मौसम में माँ - बाप की सबसे बड़ी चिंता इस बात की रहती है की शिशु को सर्दी जुकाम से कैसे बचाएं। अगर आप केवल कुछ बातों का ख्याल रखें तो आप के बच्चे ठण्ड के मौसम न केवल स्वस्थ रहेंगे बल्कि हर प्रकार के संक्रमण से बचे भी रहेंगे।
Read More...

घर पे बनाये Vapor rub (वेपर रब) - Khasi Ki Dawai
Khasi-Ki-Dawai जानिए घर पे वेपर रब (Vapor rub) बनाने की विधि। जब बच्चे को बहुत बुरी खांसी हो तो भी Vapor rub (वेपर रब) तुरंत आराम पहुंचता है। बच्चों का शरीर मौसम की आवशकता के अनुसार अपना तापमान बढ़ने और घटने में सक्षम नहीं होता है। यही कारण है की कहे आप लाख जतन कर लें पर बच्चे सार्ड मौसम में बीमार पड़ ही जाते हैं।
Read More...

सर्दियौं में शिशु को किस तरह Nappy Rash से बचाएं
डायपर-के-रैशेस नवजात शिशु को डायपर के रैशेस से बचने का सरल और प्रभावी घरेलु तरीका। बच्चों में सर्दियौं में डायपर के रैशेस की समस्या बहुत ही आम है। डायपर रैशेस होने से शिशु बहुत रोता है और रात को ठीक से सो भी नहीं पता है। लेकिन इसका इलाज भी बहुत सरल है और शिशु तुरंत ठीक भी हो जाता है। - पढ़िए डायपर के रैशेस हटाने के घरेलू नुस्खे।
Read More...

फ्राइड राइस बनाने की विधि - शिशु आहार
fried-rice घर पे करें तयार झट से शिशु आहार - इसे बनाना है आसन और शिशु खाए चाव से। फ्राइड राइस में मौसम के अनुसार ढेरों सब्जियां पड़ती हैं। सब्जियौं में कैलोरी तो भले कम हो, पौष्टिक तत्त्व बहुत ज्यादा होते हैं। शिशु के मानसिक और शारीरक विकास में पौष्टिक तत्वों का बहुत बड़ा यौग्दन है।
Read More...

6 TIPS: बच्चे के लिए बेस्ट स्कूल इस तरह चुने
best-school-2018 अगर आप अपने बच्चे के लिए best school की तलाश कर रहें हैं तो आप को इन छह बिन्दुओं का धयान रखना है| 2018, अप्रैल महीने में जब बच्चे अपना एग्जाम दे कर फ्री होते हैं तो एक आम माँ-बाप की चिंता शुरू होती है की ऐसे स्कूल की तलाश करें जो हर मायने में उनके बच्चे के लिए उपयुक्त हो और उनके बच्चे के सुन्दर भविष्य को सवारने में सक्षम हो और जो आपके बजट के अंदर भी हो| Best school in India 2018.
Read More...

बच्चों के पेट के कीड़े मारें प्राकृतिक तरीके से (घरेलु नुस्खे)
बच्चों-के-पेट-के-कीड़े घरेलु नुस्खे जिनकी सहायता से आप अपने बच्चे के पेट में पल रहे परजीवी (parasite) बिना किसी दवा के ही समाप्त कर सकेंगे। पेट के कीड़ों का इलाज का घरेलु उपाए (stomach worm home remedies in hindi). शिशु के पेट के कीड़े मारें प्राकृतिक तरीके से (घरेलु नुस्खे)
Read More...

मछली और गाजर की प्यूरी बनाने की विधि - शिशु आहार
मछली-और-गाजर मछली में omega-3 fatty acids होता है जो बढ़ते बच्चे के दिमाग के विकास के लिए बहुत महत्वपूर्ण है| ये बच्चे के nervous system को भी मजबूत बनता है| मछली में प्रोटीन भी भरपूर होता है जो बच्चे के मांसपेशियोँ के बनने में मदद करता है और बच्चे को तंदरुस्त और मजबूत बनता है|शिशु आहार - baby food
Read More...

कद्दू की प्यूरी - शिशु आहार - बनाने की विधि
कद्दू-की-प्यूरी कद्दू (pumpkin) में प्रचुर मात्रा मैं विटामिन C, आयरन और बहुत से दूसरे पौष्टिक तत्त्व होता हैं| कद्दू शिशु आहार के लिए एकदम उपयुक्त सब्जी है| बहुत ही आसान step-by-step निर्देश का पालन कर घर पे बनाइये कद्दू की प्यूरी - शिशु आहार| घर का बना कद्दू (Pumpkin) का पुरी - शिशु आहार (baby food) 6-9 months old Babies
Read More...

9 माह के बच्चे का baby food chart - Indian Baby Food Recipe
9-month-baby-food-chart- 9 महीने के बच्चों की आहार सारणी (9 month Indian baby food chart) - 9 महीने के अधिकतर बच्चे इतने बड़े हो जाते हैं की वो पिसे हुए आहार (puree) को बंद कर mashed (मसला हुआ) आहार ग्रहण कर सके। नौ माह का बच्चा आसानी से कई प्रकार के आहार आराम से ग्रहण कर सकता है। इसके साथ ही अब वो दिन में तीन आहार ग्रहण करने लायक भी हो गया है। संतुलित आहार चार्ट
Read More...

बच्चों के मजबूत हड्डियों के लिए उत्तम आहार
मजबूत-हड्डियों-के-लिए-आहार बचपन के समय का खान - पान और पोषण तथा व्यायाम आगे चल कर हड्डियों की सेहत निर्धारित करते हैं। आइये अब हम आपको कुछ ऐसे आहार से परिचित कराते है , जिससे आपके बच्चे को कैल्शियम और आयरन से भरपूर पोषक तत्व मिले।
Read More...

गर्मी में बच्चों में होने वाली 5 आम बीमारियां और उनका इलाज
गर्मियों-की-बीमारी माता- पिता अपने बच्चों को गर्मी से सुरक्षित रखने के लिए तरह- तरह के तरीके अपनाते तो हैं , पर फिर भी बच्चे इस मौसम में कुछ बिमारियों के शिकार हो ही जाते हैं। जानिए गर्मियों में होने वाले 5 आम बीमारी और उनसे अपने बच्चों को कैसे बचाएं।
Read More...

बच्चों की पढाई के लिए बनायें उपयुक्त माहौल - 12 Tips
बच्चों-की-पढाई शांतिपूर्ण माहौल में ही बच्चा कुछ सोच - समझ सकता है, पढ़ाई कर सकता है, अधयाय को याद कर सकता है। और अपने school में perform कर सकता है। माता-पिता होने के नाते आपको ही देना है अपने बच्चे को यह माहौल।
Read More...

कुपोषण का खतरा आप के भी बच्चे को हो सकता है
कुपोषण-का-खतरा हर मां बाप अपने बच्चों को पौष्टिक आहार प्रदान करना चाहते हैं जिससे उनके शिशु को कभी भी कुपोषण जैसी गंभीर समस्या का सामना ना करना पड़े और उनके बच्चों का शारीरिक और बौद्धिक विकास बेहतरीन तरीके से हो सके। अगर आप भी अपने शिशु के पोषण की सभी आवश्यकताओं को पूरा करना चाहते हैं तो आपको सबसे पहले यह समझना पड़ेगा किस शिशु को कुपोषण किस वजह से होती है। इस लेख में हम आपको बताएंगे कि कुपोषण क्या है और यह किस तरह से बच्चों को प्रभावित करता है (What is Malnutrition & How Does it Affect children?)।
Read More...

हेपेटाइटिस ‘बी’ वैक्सीन - Schedule, Dose और Side Effects - Reference Guide
हेपेटाइटिस-बी हेपेटाइटिस ‘बी’ वैक्सीन (Hepatitis B vaccine) के टीके के बारे में समपूर्ण जानकारी - complete reference guide - हेपेटाइटिस बी एक ऐसी बीमारी है जो रक्त, थूक आदि के माध्यम से होती है। हेपेटाइटिस बी के बारे में कहा जाता है की इसमें उपचार से बेहतर बचाव है इस रोग से बचने के लिए छह महीने के अंदर तीन टीके लगवाएं जाते हैं। विश्व स्वास्थ संगठन का कहना है की दुनिया भर में ढाई करोड़ लोगों को लिवर की गंभीर बीमारी है। हेपेटाइटिस बी से हर साल अत्यधिक मृत्यु होती है, परंतु इस का टीका लगवाने से यह खतरा 95 % तक कम हो जाता है।
Read More...

बच्चों को गर्मी से बचाने के उपाय
बच्चों-का-गर्मी-से-बचाव सबसे ज्यादा बच्चे गर्मियों के मौसम में बीमार पड़ते हैं और जल्दी ठीक भी नहीं होते| गर्मी लगने से जहां एक और कमजोरी बढ़ जाती है वहीं दूसरी और बीमार होने का खतरा भी उतना ही अधिक बढ़ जाता है। बच्चों को हम खेलने से तो नहीं रोक सकते हैं पर हम कुछ सावधानियां अपनाकर उनको गर्मी से होने वाली बीमारियों से जरूर बचा सकते हैं |
Read More...

Copyright: Kidhealthcenter.com